आजकल का फैशन बन गया है कि महिलाएं अपने नवजात शिशु को
दूध पिलाना पसंद नहीं करती है, और आजकल आर्टिफिशियल दूध की इतनी ज्यादा मार्केटिंग
होती है, की उसे माता के दूध से अच्छा दूध माना जाने लगा है. जबकि ऐसा बिल्कुल भी नहीं
है.
जो महिलाएं अपने शिशु को दूध पिला रही हैं, उनका शिशु जीवनभर
अधिक स्वस्थ और बलवान रहता है. और महिलाओं को दूध पिलाते समय कुछ बातों का ध्यान अवश्य
रखना चाहिए, क्योंकि महिला की प्रतिरोधक क्षमता तो काफी मजबूत है. उसे कुछ चीजें खाने
से किसी भी प्रकार की कोई समस्या नहीं होगी, लेकिन जब उस खाद्य वस्तु का अंश दूध के
माध्यम से बच्चे तक पहुंचता है, तो उसे परेशानी हो सकती है.
देखिए 2 साल तक बच्चा काफी छोटा होता है, और वह बोल नहीं
सकता है अपनी बातों को समझा नहीं सकता है इसलिए महिला को अपने भोजन में काफी ज्यादा
सावधानी बरतने की आवश्यकता होगी.
अगर आप अपने शिशु को दूध पिला रही हैं तो आपको जंक फूड
जैसे कि पिज़्ज़ा, बर्गर, ब्रेड, या चाइनीस फूड जो कि बाजार में मिलता है, आपको बिल्कुल
भी नहीं खाना है.
क्योंकि यह मैदे से बना होता है और गैस पैदा करता है. इसका अंस आपके
शिशु के शरीर में जाकर उसे भी गैस और पेट दर्द की समस्या देगा.
जो महिलाएं स्तनपान कराती है, उन्हें खट्टे फलों का भी
सेवन नहीं करना चाहिए. क्योंकि खट्टे फलों के अंदर विटामिन सी ज्यादा होता है, और इससे
दूध में अम्लता बनने लगती है. जिससे बच्चे का पेट खराब हो सकता है.
प्रेगनेंसी में फाइबर वाला भोजन खाना बताया जाता है, लेकिन
स्तनपान कराने के दौरान महिलाओं को अधिक फाइबर और शुगर वाला भोजन नहीं लेना है. इस
से गैस बनती है, और शिशु को भी गैस बन सकती है. शिशु को पाचन संबंधी समस्याएं आ सकती
हैं.
महिला को स्तनपान कराने के दौरान लहसुन खाने से बचना चाहिए.
यह एक तो काफी गर्म प्रकृति का होता है. दूसरा इसकी गंध बच्चे को पसंद नहीं आती है,
हो सकता है आपका बच्चा आपका दूध पीना बंद कर दें जो ठीक नहीं.
महिला को चाय और कॉफी का सेवन भी काफी संयमित मात्रा में
करना चाहिए, क्योंकि इसके अंदर कैफीन होता है, जो दूध के अंदर मिलकर बच्चे को चिड़चिड़ा
बना सकता है ,और बच्चा अनिद्रा का शिकार भी हो सकता है.
TIP: पीरियड्स आने के दौरान महिलाएं Reusable
Menstrual Cup का इस्तेमाल करने लगी है. आजकल यह ट्रेंडिंग प्रोडक्ट है. यह
काफी आरामदायक है. इसका प्रयोग करने से किसी भी प्रकार की लीकेज परेशानी
इत्यादि का सामना नहीं करना पड़ता है. दिन में दो-तीन बार पैड बदलने की
समस्या से मुक्ति मिल जाती है. बदबू का सामना नहीं करना पड़ता है. यह काफी
किफायती है. एक बार इसे परचेस करने के बाद इसे बार-बार प्रयोग किया जा सकता
है. यह बहुत ही अच्छी क्वालिटी की फ्लैक्सिबल मैटेरियल का बना होता है.
इसके साइज का भी ध्यान रखें.
स्तनपान कराने वाली महिला ब्रोकली भी न खाएं. इससे क्या होता है कि बच्चे को
घबराहट की समस्या और पेट दर्द की समस्या हो जाती है. इसलिए कम मात्रा में खाएं थोड़ा-थोड़ा
खाएं.
महिलाओं को चॉकलेट काफी ज्यादा पसंद आती है, लेकिन इसके
अंदर कैफीन की मात्रा होती है इसलिए इसे भी खाने से बचें.
पुदीना एक ऐसी खाद्य वस्तु है जो मिल्क के प्रोडक्शन में
कमी लाता है, यह ठीक बात नहीं है इसलिए इसका प्रयोग भी ना करें.
महिलाओं को स्तनपान कराते समय तला भुना जैसे की पकौड़ी
जाट समोसा जो कि इंडियन स्नैक्स है. इन्हें भी खाने से बचना चाहिए.
महिलाओं को स्तनपान कराते टाइम अपने भोजन में मिर्च मसालों
का प्रयोग भी ना के बराबर ही करना चाहिए. यह नुकसान दे सकते हैं.
मकई दाना कई बार एलर्जी पैदा करता है और बच्चों को इस से
एलर्जी देखने में भी आती है इसलिए अपने भोजन में मकई दाने का प्रयोग ना करें.
कई बार देखा जाता
है कि परिवार में अंडे से एलर्जी होती है. अगर आपके परिवार में कुछ ऐसा है तो आप भी
स्तनपान कराते समय अंडे से परहेज रखें. भले ही आपको अंडे से किसी भी प्रकार की एलर्जी
नहीं हो. हो सकता है, आपके पति के परिवार में इस समस्या के होने की वजह से बच्चे को
भी यह समस्या हो.