हम आंवले के संबंध में आपको बहुत कुछ बताने की कोशिश कर रहे हैं जिससे आप बड़ी आसानी से इस बात का पता लगा सकते हैं कि आपको गर्भावस्था के दौरान आमला खाना है या नहीं खाना
हम चर्चा करेंगे कि
आमला क्या होता है?
क्या आंवला खाना प्रेगनेंसी में सुरक्षित माना जाता है?
आंवले में कौन कौन से पोषक तत्व पाए जाते हैं?
आंवले के स्वास्थ्य लाभ क्या है ?
किसी भी गर्भवती स्त्री को कितना खाना चाहिए?
आंवला खाने के दुष्प्रभाव क्या है ?
आमला सिट्रस फल है. और इसका उपयोग सदियों से आयुर्वेदिक दवाओं के रूप में हो रहा है यह खाने में खट्टा माना जाता है और गर्भवती स्त्री को इससे खाने की इच्छा हो सकती है कई बार जानकारी के ना चलते महिलाएं आमला प्रेगनेंसी में नहीं खाती हैं.
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क्या गर्भावस्था के दौरान आंवला खाना सुरक्षित – Pregnancy me Amala Khana Safe Hai
अगर महिला यह जानना चाहती है कि आंवला प्रेगनेंसी के दौरान खाना सुरक्षित होता है या नहीं होता है तो हम आपको बता दें प्रेगनेंसी के दौरान आंवला खाना सुरक्षित माना जाता है. गर्भावस्था में अक्सर महिलाओं को एनीमिया की शिकायत हो जाती है. अगर महिला आंवले का सेवन प्रेग्नेंसी के समय करती है तो वह एनीमिया की शिकायत से बच सकती हैं, क्योंकि इसमें पाया जाने वाला विटामिन सी iron को अवशोषित करने में मदद करता है.
पोषक तत्व – Amale ki Nutrition Value
आंवले को पोषक तत्व का खजाना माना जाता है इसके अंदर विटामिन सी, कैल्शियम, फास्फोरस, आयरन, विटामिन B3, विटामिन B1, कार्बोहाइड्रेट, प्रोटीन, फैट, कैलोरी इत्यादि अच्छी मात्रा में पाई जाती हैं.
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प्रेगनेंसी में आंवले के स्वास्थ्य लाभ – Pregnancy me Gooseberry Health Benefits
- आंवला विटामिन सी और आयरन से समृद्ध होता है. विटामिन सी गर्भवती स्त्रियों के शरीर में आंवले को अवशोषित करने में मदद करता है. जिससे कि महिला के शरीर के अंदर हिमोग्लोबिन की उचित मात्रा बनी रहती है. एनीमिया की शिकायत नहीं होती.
- गर्भावस्था के दौरान अक्सर अपच की समस्या रहती है खट्टी डकार आती हैं दरअसल आंवले गैस्ट्रिक जूस को उत्तेजित करता है. जिससे भोजन अच्छी तरह से पच जाता है. गर्भवती स्त्री को नियमित तौर पर आंवले का सेवन करना चाहिए.
- आंवला इम्यून सिस्टम को मजबूत करने के लिए जाना जाता है और गर्भवती स्त्री का immune थोड़ा सा कमजोर माना जाता है उसे छोटे मोटे लोग बड़ी जल्दी से लग जाते हैं खांसी जुखाम बुखार सर दर्द इत्यादि आंवले का सेवन करने से इम्यून सिस्टम मजबूत होता है.
- आंवले के अंदर एंटीऑक्सीडेंट गुण भी पाए जाते हैं जिसकी वजह से इंफेक्शन लगने का खतरा भी कम हो जाता है.
- आंवला एक नेचुरल ब्लड प्यूरीफायर है यह रक्त में से अशुद्धियों को निकालने का कार्य करता है जैसे कि कुछ मछलियों के अंदर पारा पाया जाता है अगर महिला गलती से ऐसी मछली खा ले क्योंकि पारा और शीशा बहुत ज्यादा खतरनाक होते हैं अगर महिला आंवले का सेवन कर रही है तो आंवला पारे और शीशे की अशुद्धि को रक्त से दूर करता है.
- कैल्शियम के प्रति 100 ग्राम में 15 एमजी कैल्शियम पाया जाता है अगर महिला प्रतिदिन आंवले का सेवन करती है तो यह बच्चे की हड्डियों को मजबूत करने में सहायता करता है.
- आंवला शरीर की ऊर्जा को बढ़ाता है थकावट को दूर करता है अक्सर गर्भावस्था के दौरान महिलाओं को मॉर्निंग सिकनेस की समस्या देखने में आती है, अगर महिला आंवले का प्रतिदिन सेवन करती है तो मॉर्निंग सिकनेस की समस्या में काफी कमी आ जाती है.
- प्रति 100 ग्राम आंवले के अंदर 720 एमजी विटामिन सी पाया जाता है, विटामिन सी रक्त नलिका ओं को या रक्त वाहिकाओं को फैलाने का कार्य करता है, जिससे ब्लड प्रेशर की समस्या नियंत्रित होती है.
प्रेगनेंसी में आंवला खाने के दुष्प्रभाव – Pregnancy me Aanvale ke Side Effect
आंवला अत्यधिक गुणकारी होता है इसके दुष्प्रभाव ना के बराबर होते हैं लेकिन अगर कोई आंवले को हद से ज्यादा प्रयोग करता है तो उसके दुष्परिणाम सामने आने लगते हैं इससे कब्ज, दस्त, अपच और डिहाइड्रेशन की समस्या नजर आती है वैसे तो आंवले से एलर्जी नहीं होती है लेकिन अगर किसी को आंवला खाने से एलर्जी है तो उसे हमला नहीं खाना चाहिए.
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आंवले को आहार में कैसे शामिल करें आंवले को कई प्रकार से अपने भोजन में शामिल किया जा सकता है सबसे प्रचलित तरीका है आंवले का मुरब्बा इसका प्रयोग कर सकते हैं आजकल आंवला कैंडी भी काफी प्रचलन में है.
साथ ही साथ आंवले का जूस भी आंवले की पूर्ति के लिए पिया जा सकता है. इसके अलावा आंवले का अचार भी बनता है. आंवला सुपारी यह भी अमला कैंडी जैसा ही एक खाद्य पदार्थ है.
सबसे सरल तरीका है कि आप आंवले के पाउडर को अपने भोजन में शामिल कर सकते हैं अलग से भोजन के बाद या आधे घंटे पहले आप पानी के साथ आमला पाउडर का सेवन कर सकते हैं.